नमस्कार दोस्तो
आज हम बात करने जा रहे हैं चार्जशीट क्या होती है चार्जशीट कब न्यायालय के समक्ष चार्जशीट पुलिस द्वारा पेश की जाती है और क्यों की जाती है यह एक महत्वपूर्ण जानकारी है जो मैं आपको बताने जा रहा हूं और प्रत्येक व्यक्ति को इसकी जानकारी होना आवश्यक है
किस स्थिति में चार्जशीट पेश होती है और पुलिस की इस में क्या भूमिका होती है इन सब बातों का विस्तार से संपूर्ण वर्णन मैं आपके सामने बताने जा रहा हूं जो भी मेरा अनुभव रहा है वह आप लोगों के साथ सांझा करने जा रहा हूं चार्जशीट अपराधिक मामलों से संबंधित है जिसे चालन भी कहा जा सकता है आओ हम देखते हैं चार्जशीट का विस्तार से वर्णन।
चार्जशीट का विवरण?
चार्ज शीट से तात्पर्य यह है की किसी व्यक्ति द्वारा पुलिस स्टेशन में कोई FIR दर्ज करवा दी जाती है उसके पश्चात पुलिस द्वारा या पुलिस अधिकारी द्वारा एफ आई आर में अनुसंधान या जांच करना शुरू कर दिया जाता है। जब पुलिस द्वारा अनुसंधान जारी रहता है उसमें पुलिस द्वारा साक्ष्य देखे जाते हैं अगर पुलिस को लगता है कि मुकदमा चलने योग्य है
तो पुलिस द्वारा न्यायालय के समक्ष उस अभियुक्त की चार्ज शीट पेश कर दी जाती है जिसे चालान पेश करना भी कहा जाता है पुलिस द्वारा न्यायालय के समक्ष चालान धारा 173 दंड प्रक्रिया संहिता के अंतर्गत पेश किया जाता है। गंभीर मामलों में चार्जशीट पेश करने की अवधि 90 दिवस की होती हैं। आरोपी की गिरफ्तारी के 90 दिनों के भीतर पुलिस द्वारा मामले का अनुसंधान किया जाता है और साक्ष्य जुटाए जाते हैं अगर आरोप सही पाए जाते हैं तो मुकदमा पंजीकृत कर दिया जाता है अन्यथा मुकदमा निरस्त कर दिया जाता है।
अनुसंधान अधिकारी की चार्जशीट के बाद न्यायालय साक्ष्यों और तथ्यों के आधार पर अभियुक्तों के खिलाफ संज्ञान लेती है और उन्हें समन जारी करती है। इसके बाद आरोप अभियुक्तों के वकील द्वारा चार्ज बहस की जाती है
यदि अभियुक्त के खिलाफ जांच एजेंसी को सबूत न मिले, तो वह सीआरपीसी की धारा-169 के तहत क्लोजर रिपोर्ट दाखिल कर देती है। न्यायालय क्लोजर रिपोर्ट में पेश तथ्यों को देखती है और फिर मामले के शिकायती को नोटिस जारी करती है। शिकायती को अगर क्लोजर रिपोर्ट पर आपत्ति है तो वह इसे दर्ज कराता है। क्लोजर रिपोर्ट पर अनुसंधान अधिकारी की दलीलों को भी न्यायालय सुनती है।
- यदि न्यायालय को लगता है कि आरोपी के खिलाफ मुकदमा चलाने के लिए सबूत नहीं हैं तो वह क्लोजर रिपोर्ट को स्वीकार कर लेती है और केस बंद करने का हुक्म देते हुए अभियुक्तों को बरी कर देती है।
- क्लोजर रिपोर्ट के साथ पेश तथ्यों और साक्ष्यों को देखने के बाद अगर न्यायालय को लगता है कि अभियुक्त के खिलाफ मुकदमा चलाने के लिए साक्ष्य हैं तो वह उसी क्लोजर रिपोर्ट को चार्जशीट की तरह मानते हुए आरोपी को समन जारी कर सकती है।
- यदि न्यायालय क्लोजर रिपोर्ट से संतुष्ट नहीं होती, तो अनुसंधान अधिकारी को आगे अनुसंधान के लिए कह सकती है।
- जानकार बताते हैं कि एक बार क्लोजर स्वीकार होने के बाद भी जांच एजेंसी को बाद में अभियुक्तों के खिलाफ भरपूर सबूत मिल जाएं, तो दोबारा चार्जशीट दाखिल की जा सकती है, लेकिन एक बार ट्रायल खत्म हो जाए औरअभियुक्त बरी हो जाए तो उसी केस में दोबारा केस नहीं चलाया जा सकता।
चार्जशीट पेश करने की समय अवधि?
चार्जशीट पेश करने की समय अवधि क्या है समय अवधि से तात्पर्य तो आप समझ ही गए होंगे कि पुलिस द्वारा जब अभियुक्त को गिरफ्तार किया जाता है उस समय मामले की अनुसंधान भी किया जाता है उसके पश्चात पुलिस द्वारा न्यायालय के समक्ष चार्जशीट पेश की जाती है गंभीर मामलों में जिनमें उम्र कैद या फांसी की सजा का प्रावधान है
उनमें 90 दिवस के अंदर पुलिस को चार्जशीट पेश करनी होती है अन्यथा अभियुक्त को जमानत मिल जाती है और अन्य मामलों में पुलिस को 60 दिवस के अंदर चार्जशीट पेश करनी होती है अन्यथा अभियुक्त को जमानत मिल जाती है इस प्रकार चार्जशीट पेश करने की समय अवधि यह होती है।
अगर पुलिस द्वारा अनुसंधान में देरी करने पर क्या आरोपी को जमानत दी जा सकती है?
अगर पुलिस द्वारा किसी भी मामले में अनुसंधान पूरा करने के बाद धारा 173 सीआरपीसी के तहत संबंधित न्यायालय में चार्जशीट फाइल की जाती है धारा 174 सीआरपीसी में स्पष्ट रूप से लिखा है
कि पुलिस द्वारा प्रत्येक मामले का अनुसंधान अनावश्यक देरी के बिना पूरा किया जाएगा कई बार लंबित जांच की वजह से या अनुसंधान की वजह से अपराधी को बहुत लंबे समय तक न्यायिक हिरासत में रहना पड़ता है
जिससे अपराधी और उसके परिवार वालों को काफी परेशानियों का सामना करना पड़ता है आइए हम आपको बताते हैं कि अगर पुलिस द्वारा अनुसंधान समय पर नहीं किया जाता है और चार सीट समय पर नहीं पेश की जाती है न्यायालय के अंदर तो क्या आरोपी या अपराधी को जमानत दी जा सकती है
अगर जब अनुसंधान अधिकारियों द्वारा अनुसंधान पूरा ना किया हो या 10 साल से अधिक के सजा के मामलों में 90 दिन और 10 साल से कम की सजा के मामलों में 60 दिन में चार्जशीट दायर में की गई हो
तो धारा 167 (2) सीआरपीसी के तहत किसी भी गिरफ्तार अपराधी को बेल दी जा सकती है जिससे डिफॉल्ट बिल भी कहा जाता है यह प्रावधान लंबी व लंबित जांच के नुकसान को नियंत्रित करने के लिए बनाया गया है
सुप्रीम कोर्ट द्वारा की गई टिप्पणी सुप्रीम कोर्ट ने एक महत्वपूर्ण टिप्पणी की थी न्यायालय ने कहा था कि धारा 167(2) सीआरपीसी के पहले प्रावधान के तहत lयह एकमात्र वैधानिक अधिकार नहीं बल्कि है संविधान के अनुच्छेद 21 के तहत कानूनी प्रक्रिया का भी हिस्सा है न्यायालय ने कहा था कि धारा 167(2) सीआरपीसी के तहत शर्त पूरी होने पर किसी अपराधी को जमानत पर रिहा किया जाना मौलिक अधिकार है
क्या चार्जशीट दाखिल करते समय अपराधी को गिरफ्तार करके न्यायालय के समक्ष पेश करना अनिवार्य है?
चार्ट शीट न्यायालय में दाखिल करते समय क्या अपराधी को गिरफ्तार करके न्यायालय के समक्ष पेश करना अनिवार्य होता है इस बारे में हम आपको बताने जा रहे हैं कि किसी भी मामले में अनुसंधान पूरा हो जाने के बाद अनुसंधान अधिकारी द्वारा संबंधित कोर्ट में चार्जशीट दाखिल की जाती है यह एक आम प्रैक्टिस है की चार्जशीट पेश करते वक्त अनुसंधान अधिकारी द्वारा आरोपी को गिरफ्तार करके कोर्ट के समक्ष पेश किया जाता है
अगर आरोपी कोर्ट के समक्ष उपस्थित नहीं है तो कोर्ट के द्वारा भी चार सीट को लेने से मना कर दिया जाता है अगर किसी आरोपी ने शुरू से जांच में या अनुसंधान में सहयोग किया हो या किसी मामले में एक से अधिक आरोपी हो तो इस प्रैक्टिस की वजह से उन्हें काफी परेशानियों का सामना करना पड़ता है अब सुप्रीम कोर्ट के द्वारा इस विषय पर ऐतिहासिक फैसला सुनाते हुए शब्द भ्रांतियां दूर कर दी गई
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चार्जशीट पेश करने की प्रक्रिया क्या होती है?
चार्जशीट किस प्रकार पेश की जाती है इसकी क्या प्रक्रिया होती है जो निम्न प्रकार से है~
जब किसी व्यक्ति द्वारा पुलिस स्टेशन में कोई कंप्लेंट लेकर पहुंचता है तो पुलिस द्वारा उसे सुना जाता है और उसके बयान लिए जाते हैं उसके पश्चात पुलिस अधिकारी के पास यह अधिकार होते हैं कि वह उस मामले में अनुसंधान बिना मजिस्ट्रेट की इजाजत से कर सकता है और घटनास्थल पर जाकर बयान भी वहां के लोगों से ले सकता है आई विटनेस होता है
तो उसको भी बयान लिए जाते हैं उन सब व्यक्तियों के स्टेटमेंट रिकॉर्ड करके पुलिस को लगता है कि मामला चलने योग्य है तो बयान देने वाले व्यक्तियों को पुलिस स्टेशन भी बुलाया जा सकता है और न्यायालय में भी बुलाया जा सकता है अनुसंधान पुराना होने के पश्चात पुलिस अधिकारी को यह लगता है
कि मामला गंभीर प्रवृत्ति का है तो पुलिस द्वारा धारा 154 दंड प्रक्रिया संहिता के अंतर्गत मामला दर्ज कर लिया जाता है। और पुलिस को लगता है कि मामला गंभीर प्रवृत्ति का नहीं है तो धारा 155 दंड प्रक्रिया संहिता के अंतर्गत मामला दर्ज कर लिया जाता है और संबंधित न्यायालय के अंतर्गत FIR की कॉपी 24 घंटे के अंदर पेश कर दी जाती है
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मेरा नाम दीपेन्द्र सिंह है पेशे से मे एक वकील हू| MYLEGALADVICE ब्लॉग का लेखक हू यहा से आप सभी प्रकार की कानून से संबंद रखने वाली हर जानकारी देता रहूँगा जो आपके लिए हमेशा उपयोगी रहेगी | इसी अनुभव के साथ जरूरत मंद लोगों कानूनी सलाह देने के लिए यक छोटा स प्रयास किया है आशा करता हू की मेरे द्वारा दी गई जानकारी आपके लिए उपयोगी रहे |यदि आपको कोई कानूनी सलाह या जानकारी लेनी हो तो नीचे दिए गए संपर्क सूत्रों के माध्यम से हमसे संपर्क कर सकते है |
Hello sir namskar
Mene FIR Karva rakhi hai hai use aadami ki jamanat karvani Kaun Ja Raha Hoga Kaise Pata chalega
fir me abhi investication chal rhi hogi
Sr hamare bhai h 60 din ho gye jail me 2bar bail rejected ho chuki h abhi tk charjcheet nhi lgi h ipc 457.380 h ab jamanat ho jaygi rejected hue 1 month ho gya h plz help me
charge sheet court me file hine ke baad bail legye .bail high court se rejeected ho chuki hai kya
Sir polish vale meri fir nahi likh rahe the or 1 mahine tak bar bar hame bhaga rahe the hamne s.p sir ko likh ke diya to fir darg hui fir 494 or 498 me darg he
Par polish valo ne fir me sahi se nahi likha or hame dar he ki police vale kuch to gadbad kar rahe he kya kare
investigation officer change krne ki application do sp sir ko
hamare upar case ipc act 420 406 506 lagaya gaya hai charge sheet dakhil hone ke baad bail li jaye kya hum case ko chalana chahte hai
bail lene ke baad case trile chalega
409 Mai bail kaise milegi?
Koi pkka upaye bataye
Hello sir fir 420 or 406 ki dhara lgi h juthi
Or court me charge sheet pes nhi ki abhi tk 80 din se uper ho gye muje jmanat Leni chahiye kya or Leni ho jmanat to bahar se mil jayegi kya jmanat
Abhi tk girfdari nhi huyi h
kha ka mamla hai ye
Sir mere bhai ko 302 mai nirdosh fasaya gya h us Insan ko mare bhi 2 sal ho gye ab uske gharbalo ne name diya h mere bhai nirdosh h sir unhe hi 2 bar SHO sahab ne chhod diya tha sir ab dusre sho ne girftar krke jail bhej diya ab kya kre
kha ka mamla hai ye
Sir FIR me naam hai per charge sheet me naam nahi hai …. Mujhe court se kya milega.. Jis se mai doshi sabit ho jau
Sir mere bhai ko 302 mai nirdosh fasaya gya h us Insan ko mare bhi 2 sal ho gye ab uske gharbalo ne name diya h mere bhai nirdosh h sir unhe hi 2 bar SHO sahab ne chhod diya tha sir ab dusre sho ne girftar krke jail bhej diya ab kya kre
Sir FIR me naam hai per charge sheet me naam nahi hai …. Mujhe court se kuch nirdosh ka paper milega
Reply
fir me name hai lekin charge sheet me kya likha hai apke bare me .jayda jankari ke liye ap humse sampark kar saakte hai
Email-mylegaladvice099@gmail.com
Charge sheet me ye likha hai ki anushandhan Ke kram me pravan Kumar ko is kand me nirdosh paya Gaya hai
Sar maine mukadama 13.07.21 ko kiya hai 22.07.21 ko fir ke aadesh jaudge sahab ne kiya tha per fir nahi huyi aur aj 02.08.21 ko fir se FIR ke liye kaha gaya hai kya ab ki baar FIR ho jaye gi
court se agar 156 (3) ke aadesh ho gye ho fir ho gai hogi fir thane se court me pesh hoti hai ap court me pta kro
सर मेरे खिलाफ 420, 406, 409 की धारा लगी है और 9 महीने हो गए fir को, क्या अभी भी चार्जशीट दाखिल हो सकती है, क्या अरेस्टिंग के चांस अभी भी हो सकते हैं।
9 month se charge sheet dakhil nhi hui kya
hamare upar fir 03.08.2021 ko ho gayi hai jo bilkul jhoothi hai maine crpc 482 ke tahat high court me fir quash ke liye application lagayi gayi hai kya usme rahat milegi
agar apke pas avidance hai ki fir galt darj ho hai hai to
सर लेंन देन के आपसी में व्यक्ति ने बिना किसी कानूनी लिखापढ़ी के कार मुझे दी थी
और मैंने बापिस करदी ,,लेन देन खत्म होने पर
अब बो झूठी कार चोरी का मुकदमा करने की धमकी देता है क्या पॉसिबल है जबकि मेरे पास कार नही है
झूठे मुकदमे के नाम पर ब्लैकमेल कर रहा है तो क्या करें।।
police thane me fir report darj karwao
Sir 302 me cahrge sheet kb tk de skte hai court me .? Abhi tk 49 days ho gaye hai . Kya police wale abhi chargesheet de skte hai court me 1,2 din me?nd sir bisra report kitne time aa jaati hai ese case me reminder bhi bhej dia 1 ???
charge sheet police ke io dwara court m pesh ki jati hai 90 days ke under
Sir Kya chartsheet lagne ke baad dono pachoo ka court Jana jaruri hita hai
chargesheet ke baad file avidance ki stage pe aa jati hai or mulzim ko to date pe jana jaruri hota hai or dusre pakshkar ko court me avidance dene jana hota hai
सर fir धारा 308 me दर्ज की गई है लेकिन चार्जशीट co ऑफिस में जाने के बाद वापस थाने में पहुचा दी गयी अभी तक कोर्ट मे सबमिट नहीं की गयी क्या करे
iski jankari court office me pta kerna pedega ki kyu wapas wha gai file
sir hamare aur wife ke upar ipc act420 406 506 ki fir 03.08.2021 ko ho gayi hai jo ki bilkul jhoothi hai io ek paksheeya karyawahi kar raha hai kya hum investigation officer change kaise karva sakte hai
abhi tak jo hamari vivechana ki gayi hai uski nakal kaise mil sakti hai
jis court me file ho uski nakal court me copy section se mil sakti hai
fair invaestigation bhi karwa sakte ho ap jayda jankari ke liye aap humse sampark kar sakte ho
Mera Bhai h 307 Ka aropi Bina Diya h. Baju ke khet walo me .2 month se farar h , kya ho skta h sage inka.. sir pl reply
abhi to farar hai court me surender krke bail ke liye apply kro agar avidance hai to bail mil sakti hai
Sir mera bike chori ho gaya hai aur maine police complen bhi kiya hai par chargesheet kab milta hai sir
chargesheet court me police dwara file ki jati hai
सर मुझ पर आबाकारी का झूठा प्रकरण दर्ज कर धारा 34(2) के तहत केस दर्ज कर दिया है इसमें मैंने हाईकोर्ट में अग्रिम जमानत याचिका दायर की थी लेकिन हाईकोर्ट ग्वालियर ने याचिका खारिज कर दी अब मैं कहां याचिका दायर कर सकता हूं प्लीज बताएं मैं परेशान हूं
court me apko pesh hona hoga ab uske baad trial court me bail file hogi
Sir mere gaaw me ek sc ko 2 logo ne mara tha. aur mera chota bhai tha isliye mera bhi name dal gya tha par abb co se milkar mera name to nikal gya hai. o chargsheet bhejme ke liye police wale paise mang rahe hai. Aur bhai abhi chup kar rah raha hai to chargsheet kaise aur kb tak aage jyegi. Ghatna 26july ki hai.
charge sheet ka 90 days ka time hota hai wo police dwara pesh kr di jaygi
Sir 15/5/20021ko hamre khilap NCR likhaya gya dhara 323/504ke taht aur ek mahine bad vipachi court se parmition lekar vevechana ka adesh hua aur police hamse 41 1ki notice par sighn kra li ab Kya ho sakta h
41 ke notice ka reply dena hoga apko apke najdiki lawyer ki help se
Sir ndfc case mai kb tk bail hoti hai
charge sheet file ho gai kya
nhi sir 60 days ho gya or unka koi criminal records nhi hai sir ye 1st time hai
2 months ho gya jail me
Sir,maine police station me complaint di thi,jis pr FIR karne me 90 din laga diye.abb 180 din se uppar ho gaye h,but abhi tak IO ne chargesheet file nahi ki court me…& Secondly,court me judge jab reader ko notice issue karne k liye kehti h,to wo jhooth bol deta h ki notice issue kar diya h respondent ko…aisa takreeban 1.5 years se chal raha h….jiska pata 12/10/2021 ko chala,jis pr judge ne reader ko fatkaar lagaai…uski Salary se other’party ko notice issue kiya…but sir abhi tak chargesheet file nahi hui h…iss pr main kya action le sakti hu…please suggest me ????
crpc under section 210 ki application court me vakil ke madhyam se legao
sir 18/20 dhara me charge sheet jaruri hoti hai kya bail k liye .
humne yaha u.p me bail lagayi thi reject ho gayi hai.
konsi court me bail file ki reject kha se hui bail last me high court me bail file kro
aise case me bail kitne time me ho jati hai ndps act 18/20 me
charge sheet file hone ke baad bail legaye
Sir 6 aadmi pe 307 lga jisme se 3 log us crime me shamil nhi the unko kewal ranjish ke chalte name dala gya.io ke janch me jo 3 log shamil nhi the unka name hta diya gya hai aur unka name chargesheet me bhi nhi hai.aage govt.job me dikkat to nhi hogi mujhe kewal fir se. jabki mai police force type job ko chhod ke dusri type govt.job ki taiyari krta hu
Sir ydi friyadi ki tarf 1 hi gva ho to or apni tarf 6 gawa ho to case me kya hoga 307
Shr mera name lakhan Aanjana hen me jila Ujjain se hun mre Papa ko juva khelne ke jhute aarop me polish ne band kr Diya thha fhir jhod diya thha fhir Sat shal Bad unka shrch varnt aaya hm kort gaye too Vakil sab ne kha aapka koi kesh nahi he radh hogya mere Papa fhir aagaye fhir polish aai kahan thhane me aajana hm sain kr vayenge fhir kort jana or jamant krwalena mere Papa dayrect kort gaye too chalan polish pesh nahi kr rahi pese ke liye hm kya kre hm bahut garib hen hm polish ko Pesa nahi de shkte hen abhi dewali ki chuti hen kort ki jo polish bolti hm tumhe uthakr Band kr denge aap batavo hm jamant kese krvaae
Sir mene 19march 2021 ko IG ajmer se mere thane me FIR karwai 420, 323,341,406,143 lagi hue hai abhi IG shaab ke pass file hai abhi tak charg shit file nahi hue
Police department last 5 mounth se bas ek bayan baki hai sab muljim hai ye bolte hai
ab mujhe kya karna chahiye plz
charge sheet file nhi hui kya abhi agar nhi hui itne time sse charge sheet file to court me application legao section 210 crpc
सर मेरा एक रिश्तेदार हैं और वो लड़की के साथ भाग गया था और वो लड़की sc कॉस्ट की थी लड़की के घर वाले ने केस कर दिया sc/st और 366 मगर वो लोग 2 month बाद वापस आए मगर अब लड़की के घर वाले लड़की से झूठ कहलवाया कि लड़का मुंह बंद कर के ले गया और गलत काम किया जिससे लड़के के उपर 376 भी लग गया और लड़का जेल में हैं लड़की 18+है तो सर लड़के को कैसे जमानत दिलाए लड़की के मेडिकल में कोई जबरदस्ती की बात नही हैं और लड़की ने जो किया था अपनी मर्जी से किया था तो क्या किया जाए सर
charge sheet file ho chuki hai kya
नही हुई है चारशीट फाइल सर
सर चार्जसीट जामा हुई नहीं है 9536009851 ye mera contact number hai please app thodi se shlha de de please sir
charge sheet police dwara court me file ki jati hai jayda jankari ke liye ap humse sampark kar sakte hai
Email-mylegaladvice099@gmail.com
Sir meri FIR November month me ho gai h or investigation bhi ho gai bt mere io officer meri chark sheet nhi lga rhe h or har bar talking dete h wo mere sasuraal walo se mile huye h.. Mere sasuraal walo ne mujhe 2020 me ghar se nikal diya or mere pati ne kisi muslim ldki se shadi kr li wo or uski family us ldki ko apne ghar me rakhe huye h btaiye sir mujhe kya krna chahiye me bahut pareshan hu
court me application file kro
Sir mere case ko 9 month ho gya abhi tak chargesheet nhi laga he kya kre
Reply
fir me kon kon se section lge hai
Sir mere bhai per IPC 7 or 120b lagaai Hui h highcourt jodhpur m bail application daali h…bail kb tk milegi sir 1 mahine se zyada ho gya
charge sheet file ho chuki hai kya
Sir pocso 3/4 lagi h ladki abhi19 saal ki lekin apradh 2 saal pahle ka bataya h to kya pocso act court me hat jayegi
itni let fir kese hui haai kha ka mamla hai ye
मुकदमा पंजीकृत हुए 105 दिन हो चुके है पुलिस द्वारा अभी तक चार्जशीट नहीं लगाई गई है। ऐसे में पीड़ित व्यक्ति किस तरह चार्जशीट लगवा सकता है।
court me crpc section 210 ki application move kr do
Sir ji mere vi yehi problem hai mujhko ess case sai bahar niklna hai Kaya karu sir please answer me please
konsa case hai apke uper
Mere bhai ka accident me death ho gyi abhi tak charge sheet dakhil nahi ki hai 21 March ki ghatna hai
court me application 210 crpc ki legao usme report pesh kr degi police ki kya chal rha hai file me